गुरूग्राम जिला में जल्द ही रैपिड एंटीजैन किट से टैस्ट शुरू होने जा
रहे हैं। गुरूग्राम स्वास्थ्य विभाग को इसकी 8000 किट प्राप्त हुई हैं और
इस किट की विशेषता यह है कि इसकी टैस्ट रिपोर्ट 15 मिनट में आ जाती है।
इस
बारे में जानकारी देते हुए सिविल सर्जन डा. विरेन्द्र यादव ने बताया कि
जिला गुरूग्राम में कोरोना संक्रमित मरीजों की पहचान को लेकर स्वास्थ्य
विभाग गुरूग्राम द्वारा रूपरेखा तैयार की गई है। अब जिला में रैपिड एंटीजैन
डिटेक्शन टैस्ट किट से कोरोना संक्रमण के संभावित मरीजों की जांच 15 मिनट
में हो जाएगी। उन्होंने बताया कि जिन व्यक्तियों की टैस्ट रिपोर्ट इस किट
से नेगेटिव आएगी, उसकी पुष्टि के लिए दोबारा से आरटीपीसीआर विधि से सैंपल
टैस्ट करवाया जाएगा। इस किट का सबसे बड़ा फायदा यह होगा कि पाॅजीटिव आने
वाले कोरोना संक्रमित मरीजों का मात्र 15 मिनट में पता चल जाएगा। उन्होंने
बताया कि रैपिड एंटीजैन डिटेक्शन टैस्ट किट को लेकर पैथोलाॅजिस्ट,
माइक्रोबायोलाॅजिस्ट तथा लैब टैक्नीशियनों(एलटी) को प्रशिक्षण दिया जा चुका
है और जल्द ही इस किट के माध्यम से जिला में टैस्टिंग प्रक्रिया शुरू
होगी।
स्वास्थ्य विभाग गुरूग्राम के जिला सर्विलांस अधिकारी एवं
प्रवक्ता डा. जयप्रकाश ने बताया कि आरटीपीसीआर विधि से टैस्टिंग की एक
मशीन गुरूग्राम के सिविल अस्पताल सैक्टर-10 में लगाई गई है। इस मशीन के
लगने से टैस्टिंग में जो समय लगता था वह काफी कम हो गया है। पहले सैंपल को
टैस्ट करने के लिए पीजीआईएमएस रोहतक या मैडिकल काॅलेज खानपुरकलां भेजा जाता
था , जहां से टैस्ट रिपोर्ट आने में दो से तीन दिन का समय लगता था। अब यह
समय घटकर 24 से 36 घंटे रह गया है।
उन्होंने बताया कि नागरिक
अस्पताल में अब इस मशीन की मदद से 24 घंटे टैस्टिंग की जा रही है। इसके लिए
स्वास्थ्य विभाग द्वारा टीमों का गठन कर उनकी अलग-अलग शिफटों में ड्यूटी
लगाई गई है। इस कार्य के लिए 7 एलटी , एक पैथोलाॅजिस्ट, एक
माइक्रोबायलाॅजिस्ट, कोविड माइक्रोबायलाॅजिस्ट तथा डेटा एंट्री आप्रेटरों
की ड्यूटी लगाई गई है। उन्होंने बताया कि जिला गुरूग्राम में रोजाना सरकारी
अमले द्वारा कोरोना संदिग्ध मरीजों के लगभग 250 सैंपल लिए जा रहे हैं।
इनके अलावा, जिला में अधिकृत की गई प्राइवेट लैब में भी टैस्टिंग की जा रही
है जिसके रेट हाल ही में राज्य सरकार द्वारा घटाकर 2400 रूपये किए गए
हैं।
डा. जयप्रकाश ने बताया कि कोविड संक्रमित मरीजों की सुविधा
के लिए आइसोलेशन सैंटर बढ़ाए गए हैं। उन्होंने कहा कि यह हमारे लिए सुखद
अनुभव है कि जिला गुरूग्राम में कोरोना संक्रमित मरीजों से ज्यादा अब ठीक
होने वाले लोगों की संख्या बढ़ रही है। जनसाधारण में भी होम आइसोलेशन को
लेकर जागरूकता आई है और वे घर पर रहकर भी स्वस्थ हो रहे हैं। उन्होंने कहा
कि वर्तमान में जिला में 80 प्रतिशत से ज्यादा मरीज ऐसिंप्टोमैटिक सामने आ
रहे हैं जो घर रहकर भी ठीक हो सकते है। इसलिए लोगों को इस बारे में डरने की
जरूरत नही है बल्कि वे सतर्क व सावधान रहकर अपना व अपने परिजनों का बचाव
कर सकते हैं।
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